देहरादून: उत्तराखंड चारधाम के कपाट शीतकाल के लिए बंद होने के बाद अब शीतकालीन यात्रा संचालित हो रही है. इसके साथ ही उत्तराखंड सरकार, राज्य को वेडिंग डेस्टिनेशन हब के रूप में विकसित करने पर जोर दे रही है. हाल ही में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ‘मन की बात’ कार्यक्रम में उत्तराखंड की प्राकृतिक खूबसूरती, वेडिंग टूरिज्म और साहसिक खेलों का जिक्र किया था. इसके बाद राज्य सरकार ने इन सेक्टर को मजबूत बनाने की कार्य योजना तैयार करनी भी शुरू कर दी है. सरकार का मानना है कि ये सभी आयोजन उत्तराखंड में टूरिज्म को प्रमोट करेंगे.
उत्तराखंड राज्य में इस साल चारधाम के कपाट बंद होने के साथ ही शीतकालीन यात्रा शुरू हो गई थी. मुख्य रूप से गंगोत्री धाम के कपाट 22 अक्टूबर और यमुनोत्री के कपाट 23 अक्टूबर को बंद हो गए थे. ऐसे में 24 अक्टूबर से शीतकालीन यात्रा शुरू हो गई थी. हालांकि, 23 अक्टूबर को बाबा केदारनाथ और 25 नवंबर को बदरीनाथ धाम के कपाट शीतकाल के लिए बंद कर दिए गए थे. उत्तराखंड शीतकालीन यात्रा शुरू होने के बाद से 2 दिसंबर तक 3834 श्रद्धालु दर्शन कर चुके हैं. जिसमें से 2290 श्रद्धालुओं ने ओंकारेश्वर, 1165 श्रद्धालुओं ने मुखबा, 379 श्रद्धालुओं ने खरसाली के दर्शन किए हैं. जबकि 2 दिसंबर को 235 श्रद्धालुओं ने शीतकालीन यात्रा की है.
शीतकालीन यात्रा के साथ ही उत्तराखंड में वेडिंग डेस्टिनेशन और विंटर टूरिज्म को बढ़ावा देने पर जोर दिया जा रहा है. साल 2023 में हुए इन्वेस्टर समिट 2023 के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी प्रदेश को देश का प्रमुख वेडिंग डेस्टिनेशन बनाने का आह्वान किया था. इसके साथ ही बीते रविवार को ‘मन की बात’ कार्यक्रम में भी पीएम ने उत्तराखंड की खूबसूरती, साहसिक खेलों और पर्यटन की संभावनाओं का जिक्र किया. ऐसे में सीएम धामी खुद कई बार देशवासियों से अपील कर चुके हैं कि उत्तराखंड की साफ-सुथरी जलवायु, पर्वतीय गांव और तमाम धार्मिक स्थल सर्दियों में पर्यटकों के लिए आदर्श डेस्टिनेशन बन चुके हैं और यहां आकर शीतकालीन और साहसिक गतिविधियों का लुत्फ उठा सकते हैं.
वहीं, मुख्यमंत्री धामी ने कहा कि, पीएम मोदी के नेतृत्व में पिछले साल शीतकालीन यात्रा और विंटर टूरिज्म को लेकर तमाम काम किए गए हैं. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी खुद यात्राओं का हिस्सा रहे हैं और सुदूरवर्ती क्षेत्र का खुद भ्रमण भी कर चुके हैं. मुख्य रूप से भारत के अंतिम गांव माणा पहुंचकर पीएम ने उसे भारत के पहले गांव की संज्ञा दी. इसके बाद मां गंगा के मायके के हर्षिल में पिछले साल शीतकालीन यात्रा के दौरान शामिल हुए थे. यात्रा में सम्मिलित होकर हमारी यात्रा का प्रोत्साहन किया, जिससे देश दुनिया में शीतकालीन यात्रा के प्रति जागरूकता बढ़ी. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी देश के पहले प्रधानमंत्री हैं, जो सीमांत क्षेत्रों में गए हैं. इसके साथ ही ‘मन की बात’ कार्यक्रम में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने उत्तराखंड राज्य के वेडिंग डेस्टिनेशन, शीतकालीन यात्रा, हाई एटीट्यूड पर होने वाले मैराथन का उल्लेख किया है. ये सभी आयोजन उत्तराखंड में टूरिज्म को प्रमोट करेंगे.